Ex-BJP leader Nighat Abbas join Congress, पार्टी बदलने का असली कारण क्या है? क्या जनता ऐसे नेताओं पर भरोसा कर सकती है?

Ex-BJP leader Nighat Abbas join Congress, पार्टी बदलने का असली कारण क्या है? क्या जनता ऐसे नेताओं पर भरोसा कर सकती है?

भारतीय राजनीति में दल-बदल कोई नई बात नहीं है, लेकिन हर बार जब कोई बड़ा नेता पार्टी स्विच करता है, तो सवाल उठते हैं: "आखिर वजह क्या है?" और "क्या ऐसे नेताओं पर जनता भरोसा कर सकती है?" इसी कड़ी में पूर्व भाजपा नेता निगहत अब्बास का हाल ही में कांग्रेस में शामिल होना चर्चा का विषय बना हुआ है। आइए, इस मुद्दे को गहराई से समझें।

पार्टी बदलने के संभावित कारण
  1. विचारधारात्मक मतभेद 
  2. राजनीतिक अवसरवाद 
  3. सत्ता से दूरी 
  4. जनता से जुड़ाव


पूर्व भाजपा नेता निगहत अब्बास, जिन्होंने राहुल गांधी का 'सच्चा प्यार' जॉर्ज सोरोस को बताया था, कांग्रेस में शामिल हो गईं।   क्या यह कदम विचारधारा की बजाय विवादित बयानों की राजनीति को बढ़ावा देने का प्रयास है?

कांग्रेस में शामिल होने के बाद निगहत अब्बास ने न्यूज़24 लाइव पर कांग्रेस द्वारा किए गए कॉमनवेल्थ घोटाले (वीडियो 1:47 से 1:55 देखें) पर टिप्पणी की, लेकिन बाद में कैमरे के सामने इनकार कर दिया।
ऐसे नेताओं पर जनता कैसे भरोसा करे, जो अपने बयानों से पलट जाते हैं?
निष्कर्ष: राजनीति या जनसेवा?
निगहत अब्बास का फैसला चाहे जो भी हो, असली परीक्षा उनके भविष्य के कार्यों की होगी। जनता अक्सर नारों से नहीं, बल्कि विकास और साफ-सुथरी छवि से प्रभावित होती है। यदि वे कांग्रेस में रहकर अपने एजेंडे को मजबूती से आगे बढ़ाती हैं, तो भरोसा बन सकता है। वरना, यह कदम भी राजनीतिक करियर का एक और मोड़ बनकर रह जाएगा।



आपसे सवाल: क्या आपको लगता है कि दल-बदल करने वाले नेता जनता के हितों को प्राथमिकता देते हैं? या यह सिर्फ सत्ता का खेल है? टिप्पणियों में बताएं!

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